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षष्ठीमहोत्सव एवं राहुवेध
षष्ठीमहोत्सव एवं राहुवेध– संस्कार का प्रयोजन— जातक {बालक} के उत्पन्न होने के छठे दिन किया जाने वाला महोत्सव, षष्ठी-संस्कार कहलाता…
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आत्मिक शांति और सकारात्मकता का संदेश मौनानुभूति शिविर का भव्य समापन संत डॉ. सौरभ पाण्डेय जी महाराज के सानिध्य में।
आजमगढ़ के ठेकमा विकास खंड कार्यालय परिसर में आयोजित मौनानुभूति शिविर का दिव्य, भव्य समापन हुआ, जिसने आत्मिक शांति, वैचारिक…
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कवि नीरज चौधरी “नीर” हुए राष्ट्रीय कवि संगम ,मध्य प्रदेश तुलसी साहित्य अकादमी द्वारा सम्मानित।
कवि नीरज नीर को ऑपरेशन सिंदूर पर केंद्रित काव्य संगोष्ठी में सम्मानित किया गया।यह सम्मान समारोह 20.7.2025 दिन रविवार को…
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अद्वैत का आरंभ
(स्वरचित काव्य) (1)न दिन था कोई, न रात थी, न धरती थी, न गगन,न शब्द कहीं, न रूप था, न…
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सावन है मुस्कान धरा का
दिनांक : 20 जुलाई , 2025दिवा : रविवारसावन है मुस्कान धरा का ,सावन है व्याख्यान धरा का ।सावन धरा पल्लवित…
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गुरु, गुरुवर, सदगुरु और ब्रह्मसत्ता
(स्वरचित काव्य — योगेश गहतोड़ी)(भाग-2)(1)गुरु संदेह मिटाते हैं, चलना हमें सिखाते हैं,गुरुवर मन को शांत करें, शुभ-संकेत जगाते हैं,सदगुरु ज्ञान…
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” नारी तुम नारायणी”
“हम” जीवन के समरांगण में “क्षत्राणी” सी सदा सर्वदा, “हम” अपने महल में ” इन्द्राणी “ सी सदा सर्वदा। …
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खिलौनों की तलाश
खिलौनें खोजते है,वो नन्हे नन्हें हाथ,मासूमियत भरे जज़्बात,जो तोड़ते थे उनको ,इक टकराहट के बाद।। विरह मे सब अब वे…
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एक की पहचान
(स्वरचित काव्य रचना) एक की पहचान न बाहर में,न रूप, न ही व्यवहार में।वो तो रहता सूक्ष्म सुरों में,हर जीवों…
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जातकर्म संस्कार
!! जातकर्मसंस्कार का परिचय एवं महत्त्व !! बालक के जन्म होने से पूर्व तीन संस्कार होते हैं— गर्भाधान, पुन्सवन तथा…
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